“एक कप्तान और व्यक्ति के तौर पर अश्विन ने निराश किया”

नियम है लेकिन फिर भी महसूस होता है की ये गलत हुआ !

आईपीएल का सीजन -12 जयपुर का सवाई मानसिंह स्टेडियम,
किंग्स इलेवन पंजाब ने क्रिस गेल (79 रन) की धुआंधार पारी के दम पर राजस्थान रॉयल्स के सामने 185 रनों का लक्ष्य रखा था!

जयपुर के मैदान पर जब मेजबान राजस्थान स्कोर का पीछा करते हुए मज़बूत स्थिति में दिख रही थी और जोस बटलर 43 गेंदों पर 69 रन बना चुके थे और ताबड़तोड़ बल्लेबाजी कर ही रहे थे की एक विवादस्पद ओवर आया, मैच का 13वां ओवर,बटलर अचानक ऐसी स्थिति में आउट हो गए जब वो स्ट्राइक पर भी नहीं थे।

पंजाब के कप्तान रविचंद्रन अश्विन गेंदबाजी कर रहे थे तभी पांचवीं गेंद पर अश्विन ने सबको सन्न कर दिया। इस ओवर की पांचवीं गेंद पर सामने संजू सैमसन बल्लेबाजी कर रहे थे और जोस बटलर दूसरे छोर पर खड़े हुए थे!

अश्विन गेंदबाजी करने आए लेकिन अचानक वो रुक गए और उन्होंने देखा कि जोस बटलर पहले ही रन लेने के लिए पिच छोड़ चुके हैं। उन्होंने गेंद से गिल्लियां बिखेर दीं।

बटलर ने पीछे देखा और लौटने की कोशिश भी की लेकिन अश्विन उनको पवेलियन भेजने का इरादा कर चुके थे।

आमतौर पर ऐसे रन आउट करने से पहले गेंदबाज बल्लेबाज को एक चेतावनी देता है कि वो ऐसा ना करे और अगली बार फिर दोहराने पर उसे वापस लौटना ही पड़ता है लेकिन यहां पर अश्विन अड़ गए!

फैसला थर्ड अंपायर को सौंपा गया और थर्ड अंपायर ने भी बटलर को लौटने का आदेश दे डाला।।।

इसके बाद विवाद शुरू हो गया जिसमें बंट गए दो धड़े, एक कह रहा है की नियम है तो दूसरा इसे खेल भावना और क्रिकेट में भाईचारे की भावना का मर्डर बता रहा है।

राजस्थान रॉयल्स के मेंटर और दिग्गज खिलाड़ी शेन वार्न इसपर खासे नाराज़ हैं।
देखिए उनका ट्वीट-

एक कप्तान और एक व्यक्ति के रूप में अश्विन ने निराश किया. सभी कप्तान IPL में खेल भावना से खेलने के लिए सहमत होते हैं. अश्विन का बॉल डालने का कोई इरादा नहीं था- इसलिए इसे डेड बॉल कहा जाना चाहिए था. बीसीसीआई, आप देखिए. यह IPL के लिए अच्छा नहीं है.

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